आजादी का अमृत महोत्सव के शृंखला में आर एस मोर कॉलेज, गोविंदपुर के इतिहास एवं राजनीतिक विज्ञान विभाग के संयुक्त तत्वावधान में सोमवार को महात्मा गांधी की 75वीं पुण्यतिथि के अवसर पर श्रद्धांजलि सभा सह संगोष्ठि का आयोजन किया गया। सर्वप्रथम गाँधी जी की तस्वीर पर कॉलेज के प्राचार्य डॉ प्रवीण सिंह एवं संगोष्ठी के मुख्य अतिथि डॉ. प्रमोद झा (CIITM के निदेशक) द्वारा पुष्पांजलि के पश्चात सभी शिक्षकों एवं छात्रों ने पुष्प चढ़ा श्रद्धा सुमन अर्पित की गयी.
"महात्मा गांधी का हमारे देश को अंग्रेजों की गुलामी से आज़ाद करवाने में अहम योगदान था। महात्मा गांधी हिंसा के विरोधी थे और उन्होंने सदैव अहिंसा का रास्ता अपनाने पर जोर दिया। गांधी जी ने जिस सत्य को जिया उसी का प्रयोग अपने समाज जीवन में किया। उक्त बातेॆ संगोष्ठी के मुख्य अतिथि डॉ. प्रमोद झा ने छात्रों को संबोधित कर कहीं।"
इसके पश्चात कॉलेज के प्राचार्य डॉ प्रवीण सिंह ने कहा कि गाँधी जी आजाद भारत के जिस हिन्द स्वराज की कल्पना करते थे, वह आज नजर नहीं आता, इसलिए आज गाँधी जी ज्यादा प्रासंगिक हैं। गाँधी जी के विचारों पर चलकर ही भारत अपने लक्ष्य को प्राप्त कर सकता है।
इस अवसर पर दर्शनशास्त्र के प्राध्यापक अजित कुमार बर्नवाल, इतिहास विभाग के प्राध्यापक अविनाश कुमार, भौतिकी विभाग के प्राध्यापक डॉ राजेन्द्र प्रताप आदि शिक्षकों ने गांधी जी के जीवन-चिंतन पर अपना विषय रखा।
संगोष्ठी का मंच संचालन डॉ. अवनीश मौर्य ने किया। इस अवसर पर महाविद्यालय प्रोफेसर इन चार्ज डॉ राजेन्द्र प्रताप, डॉ रत्ना कुमार, डॉ श्याम किशोर सिंह, डॉ अजित कुमार बर्णवाल, प्रो0 तरुण कांति खलखो, प्रो0 सुमिरन रजक, डॉ कुसुम रानी, डॉ अवनीश मौर्या, प्रो0 प्रकाश प्रसाद, डॉ अमित प्रसाद, प्रो0 त्रिपुरारी कुमार, डॉ नीना कुमारी, प्रो0 विनोद एक्का, प्रो0 सत्य नारायण गोराई, प्रो0 स्नेहलता होरो, प्रो0 इक़बाल अंसारी, प्रो0 रागिनी शर्मा, प्रो0 राकेश ठाकुर, प्रो0 पूजा कुमारी, मो0 शारिक, सुजीत मंडल , एतवा टोप्पो, शंकर रविदास, मनोज तिर्की एवं अन्य उपस्थित थे।